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फलदायी जीवन के विषय में शिक्षा

(मत्ति 7:15-20)

43 “कोई भी अच्छा पेड़ बुरा फल नहीं लाता और न बुरा पेड़ अच्छा फल. 44 हर एक पेड़ उसके अपने फलों के द्वारा पहचाना जाता है. कंटीले वृक्षों में से लोग अंजीर या कंटीली झाड़ियों में से अंगूर इकट्ठा नहीं किया करते. 45 भला व्यक्ति अपने हृदय में एकत्रित भलाई में से भलाई ही प्रस्तुत करता है, वैसे ही बुरा मनुष्य अपने हृदय में एकत्रित बुरे विचारों में से बुराई ही निकालता है क्योंकि उसका मुख उसके हृदय के अंदर की वस्तुओं में से ही निकालता है.”

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